Monday 4 April 2016

एनोरेक्सिया (Anorexia)

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एनोरेक्सिया (Anorexia)

Anorexia
भूख न लगने को मेडिकल भाषा में एनोरेक्सिया (Anorexia) या अरुचि रोग कहते हैं। एनोरेक्सिया (Anorexia) या अरुचि रोग में रोगी को भूख नहीं लगती, यदि जबरदस्ती भोजन किया भी जाय तो वह अरुचिकर लगता है। इस रोग से पीड़ित व्यक्ति 1 या 2 ग्रास से ज्यादा नहीं खा पाता और उसे बिना कुछ खाये -पिये ही खट्टी डकारें आने लगती हैं।
एनोरेक्सिया (About Anorexia or Hunger Disorder in Hindi)
अरुचि रोग या अरोचक बीमारी का दूसरा नाम अग्रिमांद भी है। जिस का अर्थ है-भोजन के प्रति रुचि का पूरी तरह से समाप्त हो जाना। अरुचि रोग की प्रारंभिक अवस्था में भूख की कमी और कमजोरी का अहसास होने लगता है।
अरुचि का अर्थ यह भी होता है कि भूख लगी हो और भोजन भी स्वादिष्ट हो, फिर भी भोजन न खाया जाए। इस रोग से लगातार प्रभावित रहने से इंसान धीरे-धीरे कमजोर होने लगता है और उसकी कार्यक्षमता पर भी असर होने लगता है।

एनोरेक्सिया के लक्षण

-एनोरेक्सिया (Anorexia) या अरुचि के इस रोग के कारण शारीरिक और मानसिक सकते है। इसके बारें में सही जानकारी होने से हम इससे बचाव भी कर सकते हैं। 

एनोरेक्सिया के शारीरिक कारणों (Physical Reason of Hunger Disorder): 
  • पाचन तंत्र में गड़बड़ी होने के कारण जीभ में किसी भी प्रकार का स्वाद न होना
  • बुखार होना, विषम ज्वर (मलेरिया) के बाद
  • जिगर तथा आमाशय की खराबी
  • पेट साफ न रहना यानी कब्ज होना
  • अनियमित ढंग से आहार करना
  • देर तक जागना, सुबह देर से उठना
  • भोजन का स्वादिष्ट न होना
  • भूख कम करने वाले आहार का सेवन
  • चाय-कॉफी का अधिक सेवन करना, आदि

सामान्य उपचार


भूख ना लगने की समस्या से निजात पाने के लिए कई दवाइयों का सेवन भी किया जाता है लेकिन इन सबसे कारगर घरेलू उपाय माने जाते हैं। भूख ना लगना एक आम समस्या है और इसके कुछ आसान उपाय निम्न हैं: 
भूख ना लगने के उपाय (Treatment of Anorexia or Hunger Disorder)
  • गेहूं के चोकर में सेंधा नमक और अजवायन मिलाकर रोटी बनाकर खाने से भूख तेज होती है
  • एक सेब या सेब के रस के प्रतिदिन सेवन से खून साफ होता है और भूख भी लगती है
  • एक गिलास पानी में जीरा, हींग, पुदीना, कालीमिर्च और नमक डालकर पीने से अरुचि दूर होती है
  • प्रतिदिन मेथी में छौंकी गई दाल या सब्ज़ी के सेवन से भूख बढ़ती है
  • नींबू को काटकर इसमें सेंधा नमक डालकर भोजन से पहले चूसने से कब्ज दूर होकर पाचनक्रिया तेज हो जाती है

अन्य उपचार



एनोरेक्सिया या भोजन में अरुचि के घरेलू उपचार (Home Remedies For Anorexia Nervosa)

Home Remedies for Anorexia Nervosa
भोजन में अरुचि को एनोरेक्सिया (Anorexia Nervosa) भी कहते हैं। कई लोगों को अपने वजन और फिटनेस की इतनी चिंता हो जाती है कि वो हार्श डायटिंग करने लगते हैं और फिर शुरु हो जाती है एनोरेक्सिया की बीमारी। इसमें शरीर का वजन काफी कम हो जाता है। शरीर में हड्डी और मांसपेशियों पर की जमी वसा लगातार भूखे रहने से जलने लगती है और शरीर में सिर्फ हड्डी का ढ़ांचा ही शेष रह जाता है।
एनोरेक्सिया की बीमारी खासकर मॉडलिंग और फैशन इंडस्ट्री में काम कर रही कम उम्र की लड़कियों में ज्यादा होता है, क्योंकि उन्हें स्मार्ट और फिट दिखने के लिए 'जीरो फीगर' जैसी काया बनानी पड़ती है। लेकिन बाद में यही जीरो फीगर उनके लिए जानलेवा बन जाती है।
एनोरेक्सिया बीमारी के बाद न आपको भूख लगती है और न ही किसी चीज में रुचि। इस बीमारी के बाद आप खुद को भावनात्मक, मनोवैज्ञानिक, सामाजिक और शारीरिक रुप से इतना असुरक्षित महसूस करने लगते हैं कि आपमें खुदकुशी करने तक की भावना प्रबल हो जाती है।
एनोरेक्सिया का यदि सही समय पर इलाज नहीं हो तो इसके काफी गंभीर परिणाम होते हैं, मसलन- हार्ट की बीमारी, शरीर में इलेक्ट्रोलाइट्स का असंतुलन, जानलेवा एनीमिया, किडनी खराब होने से जान तक जा सकती है। अक्सर कई लोगों को पता ही नहीं चलता है कि उन्हें एनोरेक्सिया की बीमारी है। अगर यह पता चल जाए तो कई घरेलू उपचार और मनौवैज्ञानिक उपचार से इसका इलाज संभव है। खासकर घरेलू उपचार से मरीजों में खाने के  प्रति रुचि तो पैदा की ही जाती है।
एनोरेक्सिया के घरेलू उपचार (Home Remedies for Anorexia)
लहसुन  (Garlic)
लहसुन भूख जगाने की सबसे कारगर घरेलू उपाय है। इसे खाने के बाद एक खास तरह के एंजाइम का स्राव होता है जो भूख जगाता है और पाचन क्रिया को मजबूत करता है। रोज सुबह कच्चे लहसुन के तीन और चार दाने एक कप पानी के साथ खा लें। अगर कच्चा लहसुन खाने में कड़वा लगता है तो उसे उबाल कर उसमें नमक और नींबू के रस मिला कर भी खा सकते हैं।
अदरक (Ginger)
भूख जगाने के लिए आप आधा चम्मच कटे हुए अदरक काला नमक के साथ खाना खाने से आधा घंटे पहले खाएं, काफी काम करेगा। इसे इस्तेमाल करें। आप खाने को ना नहीं कर सकते हैं इसे लेने के बाद। आप अदरक के चाय का भी सेवन कर सकती हैं।
संतरा (Orange)
संतरों में भी भूख जगाने की क्षमता होती है। संतरा न सिर्फ आपके पाचन तंत्र को ठीक करता है बल्कि इससे कब्ज भी दूर होता है। इसे जब मन करे चार-छह फांक छीलकर खाते रहें। इसे काले नमक, नींबू के रस के साथ भी खा सकती हैं या फिर जूस भी पी सकते हैं।
मिंट (Mint)
मिंट भूख लगाने की कुदरती दवा है। एनोरेक्सिया के इलाज में इसे आजमाया जा सकता है। इसके स्वाद और खास सुगंध के कारण भूख की इच्छा जगती है। इसे खाने से डिप्रेशन और तनाव भी कम होगी। दो चम्मच मिंट के पत्ते से निकाले जूस रोज सुबह पीएं या फिर मिंट से बनी चाय भी पी सकती हैं।
लेमन बाम (Lemon Balm)
यह नर्व टॉनिक की तरह काम करता है और इससे भूख भी लगती है। इसे खाने से तनाव कम होता है और नींद भी अच्छी आती है। एक चम्मच लेमन बाम की सूखी पत्तियों को एक कप गर्म पानी में डालें और इसे थोड़ी देर ढ़ंक दें। ठंढा होने पर इसे चाय की तरह पीएं। काफी काम करेगा।
हर्बल चाय (Herbal Tea)
हर्बल चाय या ग्रीन टी और कई तरह के जड़ी-बूटियों को मिला कर बनी चाय पीने से भूख जगती है। तनाव और डिप्रेशन कम होती है। एनोरेक्सिया में हर्बल टी पीने की सलाह दी जाती है।
मसाज (Massage)
मसाज थेरेपी सिर्फ तनाव और डिप्रेशन ही नहीं दूर करती है बल्कि इससे भूख भी लगती है। मेडिकल जर्नल में एनोरेक्सिया के इलाज में मसाज थेरेपी को भी मेडीसिन के रुप में शामिल किया गया है। किसी स्पा में जाकर हर्बल मसाज ट्रेंड मसाजर से लें, काफी फायदा करेगा।
योग (Yoga)
एनोरेक्सिया बीमारी से पैदा हुई भावनात्मक असुरक्षा को दूर भगाता है योग। योग में ऐसे कई आसन हैं खासकर- कपोतआसन(कबूतर के समान), शलभआसन। इसे करने से आप बहुत जल्द ठीक हो सकती हैं।
एक्यूपंक्चर और एक्यूप्रेशर (Acupuncture and Acupressure)
एक्यूपंक्चर और एक्यूप्रेशर  दोनों की मदद से एनोरेक्सिया से लड़ी जा सकती है। इसे आजमाने से आपको अच्छा अनुभव होगा और रिलैक्स महसूस करेंगे। किसी खास नर्व पर एक्यूपंक्चर या एक्यूप्रेशर करने से भूख भी लगने लगती है।
ध्यान (Meditation)
मन की अशांति एनोरेक्सिया का खास लक्षण है। इसे भगाने के लिए सुबह-शाम ध्यान करें। मन और आत्मा को शांति मिलेगी और मन में सकारात्मक विचार आएंगे।
और भी हैं कई टिप्स (Some more tips)
  • नियमित रुप में ग्रुप थेरेपी में शामिल हो।
  • अपना एक डाइट प्लान बनाएं और इस पर अमल करें, इससे भागे नहीं।
  • सुबह निश्चित रुप से नाश्ता करें, इसे अपनी आदत में शामिल करें।
  • हरी सब्जियों और हरे साग के सूप बना कर पीएं।
  • भूख जगाने के लिए मसालेदार भोजन खाना शुरु करें।
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      राजीव सिपहिया हमीरपुर हिमाचल प्रदेश 
दिनाक ०४ अप्रैल २०१६   जय माता दी "जय गुग्गा पीर सुरह वाले ,,,,







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